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Kandapohe
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| Tuesday, November 06, 2007 - 9:33 am: |
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मीनू सहीच आहे आणी चांगलेच उंच आहे. मी किंवा नेहा. हे बघा.

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Kandapohe
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| Tuesday, November 06, 2007 - 9:37 am: |
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आणखी थोडे.
उडान

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Meenu
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| Tuesday, November 06, 2007 - 9:46 am: |
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डोंगरावरुन खाली दरी अशी दिसत होती .. 
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Meenu
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| Tuesday, November 06, 2007 - 9:47 am: |
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आणि हा अजुन एक मागे डोंगररांग दाखवणारा 
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Itgirl
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| Tuesday, November 06, 2007 - 9:59 am: |
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मीनू, केपी, सहीच आहे एकदा तरी उडणार आता मी
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Psg
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| Tuesday, November 06, 2007 - 10:00 am: |
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अरे वा! फोटो टाकून अगदी जिवंत करताय सगळा अनुभव. मस्तच. आता जावंसं वाटत आहे तिथे.. मीनु, तेचतेच फोटो काय टाकतेस दोनदा वेगळ्या कॅप्शन्स देऊन हं?
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मीनु,केप्या फोटो लै भारी.... केप्या आपण जावूच्रे रे.. ..
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Badbadi
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| Tuesday, November 06, 2007 - 10:23 am: |
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तेचतेच फोटो काय टाकतेस दोनदा वेगळ्या कॅप्शन्स देऊन >> पूनम, मेरा वो किबोर्ड लौटा दो! मीनु, केपी - मस्त आहेत तुमचे अनुभव आणि फोटो! कधी जाऊयात सगळे मिळून???
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Meenu
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| Tuesday, November 06, 2007 - 10:38 am: |
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हे हे हा फोटो टाकणार होते चुकुन परत तोच टाकला. असो निदान caption तरी वेगळी आहे ना ..? 
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Zakasrao
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| Tuesday, November 06, 2007 - 10:49 am: |
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अरे वा! मस्त आहेत फ़ोटो. पन केप्या आणि मिनु हे तुअम्चेच फ़ोटो आहेत ना?
हे गमतीत हां. रागवु नका.
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Meenu
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| Tuesday, November 06, 2007 - 10:57 am: |
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मी टाकलेले फोटो आहेत ते माझेच असे नाहीयेत. जे फोटो चांगले आले होते ते टाकले आहेत. resize केल्यावर नीट दिसावेत म्हणून. तसंही सगळे फोटो सारखेच दिसणार ..
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Itgirl
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| Tuesday, November 06, 2007 - 12:01 pm: |
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मीनू, मस्तच आले आहेत सगळे फ़ोटो! आणि अनुभवही ग्रेट, लिहिलय पण छान
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वा काय अनुभव आहे मस्त फोटो पाहुन तर मजाच आली. केपी आणि मीनु छान लिहिलत.
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Kandapohe
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| Thursday, December 06, 2007 - 5:55 am: |
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आज सकाळी मिर्चीला टेंपल पायलटवर बरेच काही सांगीतले.
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काल 'मुंबई मिरर' मध्ये कामशेतजवळच्या पॅराग्लायडींगच्या एका अपघाताची बातमी वाचली. त्यात म्हणे टेकडीवर उतरताना दोघांची टक्कर झाली. अर्थात पॅराग्लायडींग हे 'साहसी मोहीम' प्रकारात मोडणारे असल्याने त्यात अशा अपघातांची शक्यता नाकारता येत नाही. तरीही वाचून वाईट वाटले.
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Meenu
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| Friday, December 07, 2007 - 4:19 am: |
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हं वाचलं मी पण काही वेळा जे लोक शिकलेले असतात ते अनाठायी धोके पत्करतात आणि मग असे अपघात होतात. over confidence मधे हा धोका आहेच.
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